सीबीआई ने एमसीडी के असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर को गिरफ्तार किया।
– एस पी सिटी ज़ोन का मामला
इंद्र वशिष्ठ
सीबीआई ने दिल्ली नगर निगम के एक असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर और अस्थायी कर्मचारी को रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया है।
सीबीआई प्रवक्ता आर सी जोशी ने बताया कि एमसीडी सिटी, एसपी जोन के असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर ओम पाल और अस्थायी कर्मचारी जितेंद्र को चार हजार रुपए रिश्वत लेते हुए गिरफ्तार किया गया है।
ओम पाल के दफ्तर से हस्ताक्षरित कोरे चैक ,अनेक एटीएम कार्ड और दस्तावेज बरामद हुए हैं। इस मामले में सैनिटरी इंस्पेक्टर बृज मणि के गाजियाबाद के घर की भी तलाशी ली गई। बृज मणि के घर से 38 लाख रुपए और दस्तावेज बरामद हुए हैं। बृज मणि की भूमिका की जांच की जा रही है।
साल 1998 से एमसीडी में अस्थायी कर्मचारी किशन गंज निवासी सुरेश कुमार ने सीबीआई को शिकायत की थी जिसमें कहा कि पिछले 6 महीने से उसे काम पर नहीं रखा जा रहा है। उपरोक्त अफसर अस्थायी कर्मचारियों से वेतन के एवज में रिश्वत लेते हैं। ये अफसर अस्थायी कर्मचारियों के एटीएम कार्ड अपने पास रखते हैं। वेतन आने पर खुद निकाल लेते हैं। अस्थायी कर्मचारियों को उसमें से थोड़ा बहुत ही पैसा देते हैंं।
सुरेश ने सीबीआई को बताया कि उसका जो एटीएम कार्ड सैनिटरी इंस्पेक्टर बृज मणि के पास था उसकी वैधता समाप्त हो गई है। नया एटीएम कार्ड उसके घर के पते पर आया है। असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर ओम पाल के मांगने पर उसने एटीएम देने से इनकार कर दिया है। इसलिए वह उसे काम पर नहीं रख रहे हैं। सुरेश के मुताबिक उसके बैंक खाते में एरियर के आठ हजार रुपए आए हैं। असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर ओम पाल काम पर रखने की एवज में उससे आठ हजार रुपए रिश्वत मांग रहा है। रिश्वत न देने पर उसका रिकार्ड खराब करने की भी धमकी देते हैं।
सीबीआई ने शिकायत में लगाए आरोपों को वैरीफाई करने के बाद 8 अप्रैल को मामला दर्ज कर लिया। इसके बाद रिश्वत मांगने और लेने के आरोप में असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर ओम पाल और अस्थायी कर्मचारी जितेंद्र को गिरफ्तार किया गया।
इन दोनों को अदालत में पेश किया गया। अदालत ने असिस्टेंट सैनिटरी इंस्पेक्टर ओम पाल को दो दिन की पुलिस हिरासत में और जितेंद्र को न्यायिक हिरासत में भेज दिया ।