टाइगर कमांड की खबर का असर
F – 16 शास्त्री नगर में जीरो लैंड पर बन रही अवैध बिल्डिंग बुक, काम रोकने के आदेश
– निगम के अधिकारियो ने अपनी गर्दन बचाने के लिए बिल्डिंग को किया बुक, नहीं दिखाया अतिक्रमण
– योगेश भारद्वाज
दिल्ली : शास्त्री नगर में फर्जी कागजातों पर बन रही F-16 की अवैध बिल्डिंग को टाइगर कमांड में खबर छपने के बाद आनन फानन में निगम के जे ई सहित बिल्डिंग विभाग के अधिकारियो ने अपनी गर्दन बचाने के लिए बुक कर दिया है। जबकि यह बिल्डिंग 100 गज की सरकारी जमीन पर अवैध कब्जा करके बनाई जा रही थी। उसका जिक्र आर्डर में नहीं किया गया है। आर्डर में DMC एक्ट 344 और 343 का जिक्र किया गया है। जिसके तहत पार्किंग,पहला ,दूसरा और तीसरा तल बिल्डिंग प्लान के अनुरूप नहीं पाया गया है। इसके लिए SHO सराय रोहिल्ला को काम रोकने के लिए 344(2) के तहत निर्देश जारी किये गए है। लेकिन इस फर्जीवाड़े में जे ई और बिल्डिंग विभाग के अधिकारियो ने अपनी गर्दन बचाने के लिए बहुत ही चालाकी का काम किया है। आखिर जीरो लैंड पर यह बिल्डिंग प्लान पास कैसे हो गया जबकि इसके पुराने कोई भी कागज मौजूद ही नहीं है। बरहाल अब देखना यह है कि इस भ्र्ष्टाचार पर चोट कब होगी। गौरतलब है कि यहाँ राजनैतिक संरक्षण और नगर निगम के बिल्डिंग विभाग के वरिष्ठ अधिकारियों की मिलीभगत से जे ई के नेतृत्व में सरकारी जमीन पर अवैध कब्जा कर जाली कागजातों पर बिल्डिंग प्लान पास कराकर जीरो लैंड पर गगनचुम्बी अवैध बिल्डिंग खड़ी हो गयी है।
जबकि इसकी शिकायत कई लोंगो ने सभी स्तर पर की हुई है। लेकिन चांदी की धमक के आगे सभी अधिकारी बहरे और अंधे हो चले हे,की उन्हें यह फर्जीवाड़ा ना तो नज़र आ रहा और ना ही सुनाई दे रहा। गौरतलब है कि दिल्ली में अब तक जमीन का सबसे बड़ा फर्जीवाड़ा सामने आया है। यहां जीरो लैंड पर 130 गज की कमार्शियल अवैध निर्माण खड़ा हो गया है। जबकि इस जमीन को यहां के पुराने स्थानीय नागरिक इसको 30 गज के आसपास का ढलाव घर बताते है। और दूसरी जो सबसे अहम दस्तावेज टाइगर कमांड को मिले है। उसमे यह जगह जो एफ 16 के पते की है वो वास्तव में जिसने विक्रय की है उसके नाम ही यह जगह जीरो गज थी जबकि उसने यह जगह जिसको बेची थी उसे यह 94.47 स्क्वायर मीटर बेची गई। अब भला यह कैसे हो सकता है कि जिसके पास ज़ीरो स्क्वायर मीटर जमीन हो और वो उसे 94.47 स्क्वायर मीटर बेच दे?